दोस्तों मेरा नाम अंकुर है और मै दिल्ली मे रहता हूँ। मेरा उम्र २० साल है और मै यहां पढाई करता हूँ । मैंने एक आंटी रखी हुई थी जो मेरे लिए खाना बनाया करती थी। उनकी उम्र तकरीबन 36 या 37 रही होगी। उनका गांव और मेरा गांव एक ही था, और वो मेरे पापा माँ को अच्छी तरह से जानती है। वो दिखने मे सुंदर थी लेकिन उनका कोई बच्चा नही था, जिसके लिए वो जिंदगी से निराश भी थी। उनके सुंदर अंग मे से मुझे उनकी जांघ , गांड और छाती अच्छी लगती थी। वो अक्सर बड़े गले वाली कला रंग का ब्लाउज़ पहना करती थी।मुझे सेक्स की वीडियो से ज्यादा अच्छा सेक्स की कहानी लगती है। chuche
Sunday का दिन था और आज आंटी का जन्म दिन भी था लेकिन वो फिर भी खाना बनाने के लिए आई थी, वो आज बहुत खूबसूरत लग रही थी। मैंने एक दिन आंटी की पोछा लगाते हुए उनकी बूब्स की फोटो लिए थे जो की उनके आने से पहले मैं लैपटॉप मे खोल के देखते हुए मुठ मार रहा था। उनके आने के बाद मैंने अपने आप को संभाला और नॉर्मल हो गया । जब तक मे मैंने उन्हें birthday wish किया तब तक मे लैपटॉप की स्क्रीन से light भी जा चुकी थी। मैं लैपटॉप के बारे मे बिल्कुल भूल गया था, जब तक मे आंटी खाना बना रही थी तब तक मे मैं नहा कर आगया लेकिन आने के बाद मेरे सामने कुछ अलग ही दृश्य था।
आंटी सामने खड़ी थी लैपटॉप के स्क्रीन मे उनकी बूब वाली फोटो खुली हुई थी, वो बहुत गुस्से मे थी। वो पूछी की अभी तक ये फोटो कितने लोगो ने देखा मैंने कहा – किसी को भी नही दिखाया है। फिर इन हरकतों के बारे मे वो पापा को कंप्लेन करने की जिक्र की तो मैं और भी ज्यादा डर गया। मैंने कहा- मुझे माफ़ कर दो, आपको जो चाहिए मैं दूंगा लेकिन पापा को मत कहो। वो kitchen चले गयी और सोचने लगी। इधर मैंने कपड़े पहन लिए। वो आई और बोली मुझे 2000 रुपये दो और इस फोटो को delete कर दो। मेरे पास 1500 रुपये थे मैंने दिया और कहा और 1500 बाद मे दूंगा। big boobs
वो बोली 1000 ज्यादा क्यों? तो मैंने नज़र चुराते हुए कहा की – मैं तुम्हारे साथ सेक्स करना चाहता हूँ ये सुनते हि वो सकपका गयी और वहाँ से चले गयी। मुझे लगा की वो और नही आएगी, और वो 2-3 दिनों से नही आई। मैंने अपने ही पैर मे कुल्हारी मार लिया था, क्यों कि वो खाना बहुत अच्छा बनाती थी। अचानक एक रोज वो आई और अपने मन से खाना बनाने लगी, मैंने कुछ नही कहा। वो आज बहुत ही कामुक लग रही थी, वो मुझे दो तीन बार नसीलि नजरो से देखा। उनको इस तरह के बर्ताव से मेरे लंड मे पानी आने सुरु हो गए थे। मैंने पूछा – कुछ हुआ किया? sorry!
वो बोली – sorry मत बोलो। तुम मुझे अच्छे लगते हो, लेकिन उम्र मे तुम मेरे से बहुत छोटे हो।
मैंने कहा- शादी करने लायक उम्र तो है न। मुजे भी तुम बहुत अच्छी लगती हो, और जो नाभि से नीचे तुम्हारी साड़ी है ये मेरे वासना को जगा देता है। मैं तुमसे प्यार करता हूँ।
वो बोली- प्यार तो मैं भी करती हूँ लेकिन please किसी से मत कहना। hindi sex story
मैंने उसे अपने बाहो मे भर लिया और उनके आँखो के तरफ रोमांस भारी नज़रो से देखने लगा। उसकी आँखे नसिलि होती जा रही थी और पलके झुकने लगी थी, मै समझ गया की अब होंटो पर चूम्मा करना है। मैंने उनके होंटो को अपने होंटो मे दबा लिया फिर वो मेरे होंटो को हल्के हल्के चूसने लगी और मैं भी चूसना जारी रखा। मेरा लंड धीरे धीरे खरा होने लगा था। मेरा एक हाथ उसका पीठ सेहला रहा था और मेरा दूसरा हाथ उसकी कमर मे था। उनकी पल्लू नीचे गिर चुकी थी, बड़े गर्दन वाली ब्लाउज़ से उसकी आधे मम्मे बाहर दिख रही थी बड़ी बड़ी और गोरी गोरी।
मै उसे धीरे धीरे अपने बिस्तर के पास ले गया, और ब्लाउज़ का हूक खोलने लगा तभी वो मेरे सीने को सेहला रही थी और उसकी नज़र मेरे पैंट के अंदर बंद लंड पर थी। जैसे ही मैंने ब्लाउज़ को खोला उसकी मम्मे बाहर की ओर उछल परी, मेरा लंड और शक्त हो गया। मेरा स्पीड बढ़ गया मने जल्द हि उसकी सारी, पेटीकोट और पेंटी भी खोल दिया। उसकी बूर मे हल्की हल्की बाल थी। इतने मे मेरा लंड बहुत शक्त हो गया था, मैंने पैंट खोलना चालू किया तो वो पैंट खोल दि और लंड ज्यादा लंबा तो नही है मात्र 6 इंच और उसको ये पसंद भी आया। वो इसे चुमि और फिर चूसने लगी, ऐसा लग रहा था जैसे मैं उसके मुह को चोद रहा हूँ। मेरा रफ़्तार तेज हो गया। पहली बार मुझे इतना आनंद आ रहा था। करीब 4 मिनट ब्लो जॉब करने के बाद मैंने उसे उठाया और उसकी चूत को सुंघा उसकी मादक खुसबू मेरे तन बदन मे आग लगा रहा था। उसकी मोटी मोटी जांघ और उभरी हुई चुतर मन करता था की मसलते रहु। मैंने उसकी चुतर को हिलाते हुए थापर मरा और चुतर की मांस हिलने लगती थी। फिर मैंने उसकी बूर को चाटना चालू किया , बूर से पतलि फिसलन वाली नमकीन पानी आ रही थी मैं चाटता रहा। वो तरपने लगी थी बिस्तर को मुट्ठी से पकर लि। आह… अह.. उम ह्म्म्म….. आह हाए दइया ओह अंकुर i love you। chuche
मैं- I love you too
आंटी- रुको मत आह.. आह….
चबर चबर की आवाज आरही थी, आंटी तरपने लगी और बोली मुझे चाहिए……
मैं- ठीक है इधर लेटो जानु।
वो बिस्तर मे पोज़िशन लेती हुई पैर फैला दि। मैं उसके ऊपर आया पहले उसको किस किया और मम्मे को दबाने लगा, मसलने लगा और दांत से गर्दन मे हल्की हल्की काटने लगा। फिर मैंने अपना लंड उसकी चूत की बाहरी मुह मे रगरने लगा। वो चुतर उठा देती थी ताकि लंड अंदर जाये लेकिन मैं अंदर जाने नही देता था मै उसे तरपा रहा था इस रगरन को जारी रखा साथ ही पेट और बूब्स को मसलते रहा कुछ देर बाद मैंने लंड अंदर पेला ।
आंटी- हय दइया गयी मेरी जान आह !….. ओ.. हये… sexy chuche
अंकुर- ऐसि लाजवाब माल मुझे पहले क्यु नही मिला. हउ ह…. ह…… उह…….
आंटी- कुछ मत बोलो बस चोदते रहो और और अआह अ आ आ माँ गयी रे, और तेज हां अच्छा लग रहा है अह आह ……
आंटी की आवाज तेज होने लगी ऐसी तरप थी जैसे जान जा रही हो रुकने का नाम नही ले रही थी। मैं पोज़िशन बदलना चाहता था लेकिन दोनो की जोश चरम सीमा मे थी उसकी नाखून मेरे पीठ को नोच रही थी बहुत अच्छा लग रहा था और जोश उफान मार रहा था। कमरे मे आवाज़ गूंजने लगी थी।
आह…आह…अंकुर…..हम्म…..अआः..आराम से पैसाब वाली रास्ता मे टक्कर मार रहा है। आह और और हाये….दैय्या आह…म्वाह…
पसीने से मैं तर बतर था और असीम आनंद को अनुभव कर रहा था। मेरा पैर करा होने लगा यह फिर पिचकारी की धार उसकी बूर के अंदर ही छूट गया। और फिर कमजोरी सा होने लगा उसके नजदीक हि 5 मिनट लेटा रहा। mote chuche
मुझे हमारी कामुक किस्सा हमेशा याद रहेगा मैंने कहा। वो बोली जिंदगी भर ऐसी मजा लेना चाहती है।
मैं उसे प्यार करने लगा था। उस आंटी से मुझे सच्ची वाली प्यार हो गयी। मुझे 5 महीने के बाद जॉब लग गया और मै बंगलोर चला गया।बहुत याद करता हूँ आंटी को।
आपको ये किस्सा कैसी लगी हमे जरूर लिखें।